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Hindi Grammar / October 18, 2024

पद परिचय किसे कहते हैं/ परिभाषा, भेद और उदाहरण Class – 10

हिन्दी व्याकरण में पद परिचय Class 10 के students के लिए महत्वपूर्ण है। इसमें पद परिचय किसे कहते हैं, पद परिचय की परिभाषा, पद परिचय के भेद, पद परिचय के उदाहरण, ( Pad parichay ke udaharan), पद किसे कहते हैं, (pad parichay in Hindi) का सरल भाषा में अध्ययन कीजिए।

 

 

 

“किसी वाक्य को बनाते समय हमें शब्दों की आवश्यकता होती है और जिन शब्दों से मिलकर वाक्य बना होता है वे सभी शब्द पद कहलाते हैं। पद के बारे में परिचय देना ही पद परिचय कहलाता है। पद परिचय में शब्द के संज्ञा, सर्वनाम, क्रिया, विशेषण और अव्यय आदि का प्रयोग व्याकरण की दृष्टि से किस प्रकार हुआ है। इन सभी का उल्लेख पद परिचय में दिया जाता है।

पद परिचय किसे कहते हैं? Pad parichay kise kahte hai.

पद की परिभाषा

“वर्णों के मेल से शब्द की रचना होती है। शब्द को जब सार्थक वाक्य में प्रयुक्त किया जाता है तो वह पद कहलाता है। जब सार्थक शब्दों के मेल से वाक्य की रचना की जाती है तो उस वाक्य में प्रयुक्त शब्दों को पद कहते हैं। अर्थात किसी वाक्य में प्रयुक्त सार्थक शब्द को पद कहते हैं।”

 

पद के कितने भेद होते हैं (  पद परिचय class 10)

पद या शब्द मुख्य रूप से पांच प्रकार के होते हैं।

संज्ञा

सर्वनाम 

क्रिया 

विशेषण

अव्यय

 

पद परिचय किसे कहते हैं?

पद परिचय की परिभाषा 

पद परिचय की परिभाषा निम्नानुसार होती है –

 

“वाक्य में प्रयुक्त सार्थक शब्द / पद के बारे में व्याकरणिक दृष्टि से यह जानना कि इसमें कौन सी संज्ञा है, कौन सा सर्वनाम है ,कौन सी क्रिया है, कौन सा विशेषण है, और कौन सा अव्यय है। इन सभी के बारे में समेकित रूप से उल्लेख करना पद परिचय कहलाता है। अर्थात वाक्य में प्रयुक्त पद के स्वरूप और अन्य पदों से संबंध को जानना ही पद परिचय कहलाता है।”

 

पद परिचय को किस प्रकार से उल्लेखित किया जाता है 

पद परिचय संज्ञा, सर्वनाम, क्रिया, विशेषण और अव्यय के अनुसार निरूपित किया जाता है। पद परिचय लिखते समय किन-किन बातों का ध्यान रखना है और उनके बारे में क्या-क्या लिखना है।

 

संज्ञा : संज्ञा के तीन भेद  -( व्यक्तिवाचक, जातिवाचक और भाववाचक) में से कौन सी संज्ञा है, लिंग : ( स्त्रीलिंग और पुरुष लिंग ) में से कौन सा लिंग है, वचन : एक वचन और बहुवचन (कौन सा वचन है), कारक : कौन सा कारक है।

 

सर्वनाम : सर्वनाम के भेद (पुरुषवाचक, निश्चयवाचक, अनिश्चयवाचक, संबंधवाचक ,प्रश्न वाचक और निजवाचक) में से कौन सा सर्वनाम है और लिंग, वचन, कारक के साथ इनका क्या संबंध है।

क्रिया : क्रिया के भेद ( अकर्मक, सकर्मक, संयुक्त क्रिया, नाम धातु क्रिया, प्रेरणार्थक क्रिया, पूर्ण कालिक क्रिया) में से कौन सी क्रिया है तथा लिंग, वचन, कारक का उल्लेख करना होता है।

 

विशेषण : विशेषण के प्रकार ( गुणवाचक, परिणाम वाचक संख्यावाचक, संकेत वाचक और व्यक्तिवाचक) में से कौन सा विशेषण है तथा लिंग, वचन, कारक के साथ इनका क्या संबंध है।

 

अव्यय :  अव्यय शब्द का लिंग, वचन, कारक, पर प्रभाव नहीं पड़ता है। अतः इसमें अव्यय के भेद ( क्रिया विशेषण अव्यय, संबंध बोधक, समुच्चयबोधक, विस्मयादिबोधक और निपात) के प्रकार, उसकी विशेषता और सम्बन्ध बताया जाता है।

 

जैसे : मोहन पुस्तक पढ़ता है।

मोहन – व्यक्तिवाचक संज्ञा, पुल्लिंग, एकवचन, कर्ता कारक।

पुस्तक – जातिवाचक संज्ञा, स्त्रीलिंग, एकवचन, कर्म कारक।

पढता है – सकर्मक क्रिया, पुल्लिंग, एकवचन, वर्तमान काल।

पद परिचय Class 10 

पद परिचय के उदाहरण – Pad parichay ke udaharan.

1. संज्ञा शब्द का पद परिचय

संज्ञा का पद परिचय देते समय वाक्य में आए प्रत्येक पद को अलग-अलग लिखना है और प्रत्येक पद में कौन सी संज्ञा है, संज्ञा का भेद, लिंग, वचन और कारक का उल्लेख करना है, और क्रिया के साथ उनका सम्बन्ध वर्णित करना है।

जैसे :

राहुल ने शीला को गाय दी।

राहुल – व्यक्तिवाचक संज्ञा, पुल्लिंग, एकवचन, कर्ता कारक।

अंशुल – व्यक्तिवाचक संज्ञा, स्त्रीलिंग, एक वचन कर्म कारक।

गाय – जातिवाचक संज्ञा, स्त्रीलिंग, एकवचन, कर्म कारक

 

मथुरा में कृष्ण ने कंस को मारा।

मथुरा – व्यक्तिवाचक संज्ञा, पुल्लिंग, एकवचन , कर्ता कारक 

कृष्ण  – व्यक्तिवाचक संज्ञा, पुल्लिंग, एकवचन , कर्ता कारक

कंस – व्यक्तिवाचक संज्ञा, पुल्लिंग, एकवचन, कर्म कारक 

 

2. सर्वनाम शब्द का पद परिचय

सर्वनाम शब्द का पद परिचय देते समय सर्वप्रथम पद को पहचानना है, उसके बाद सर्वनाम का कौन सा भेद है, इसके बाद लिंग, वचन, कारक और वाक्य में अन्य संबंध बताने हैं।

जैसे

वह अपनी पुस्तक ले गया।

वह – अन्य पुरुष सर्वनाम, पुल्लिंग, एक वचन, कर्ता कारक।

अपनी – निजवाचक सर्वनाम, अन्य पुरुष, एक वचन, संज्ञा का विशेषण।

3. विशेषण शब्द का पद परिचय

विशेषण के पद परिचय में विशेषण का प्रकार, अवस्था, लिंग, वचन, विशेष्य के साथ उसका संबंध आदि के बारे में बताना होता है।

जैसे :

यह लड़का बहुत होशियार है।

यह – सार्वनामिक विशेषण, पुल्लिंग, एकवचन, ‘लड़का’ संज्ञा की विशेषता।

होशियार – गुणवाचक विशेषण, पुलिंग, एक वचन, “लड़का” विशेष्य का विशेषण

 

4. क्रिया शब्द का पद परिचय

क्रिया शब्द का पद परिचय देते समय क्रिया का प्रकार, लिंग, वचन, काल, और वाक्य में प्रयुक्त अन्य शब्दों के साथ संबंध बताना होता है।

जैसे :

राम ने रावण को मारा।

मारा – सकर्मक क्रिया , पुलिंग एकवचन कर्तृवाच्य और भूतकाल।

वह शाम को गया।

शाम – सकर्मक क्रिया, पुलिंग, एक वचन, कर्तृवाच्य , भूतकाल।

 

5. अव्यय शब्द का पद परिचय

अव्यय शब्दों में लिंग, वचन, कारक आदि का कोई प्रभाव नहीं पड़ता है। उनके पद परिचय में अब शब्द का प्रकार और उसका संबंध और विशेषता को बताना होता है।

 

अ) क्रिया विशेषण का पद परिचय

राम वहां गया था।

वहां – क्रिया विशेषण, गया था क्रिया का स्थान है।

 

ब) समुच्चयबोधक

इसमें समुच्चबोधक का भेद और दो शब्दों को जोड़ रहा है उसके बारे में बताना होगा।

जैसे :

राम और श्याम भाई हैं।

और – समान अधिकरण समुच्चयबोधक में योजक अव्यय।

 

स) संबंध बोधक

इसमें भेद हो और जिस शब्द से संबंध है उसे संज्ञा, सर्वनाम के बारे में जानकारी देनी होगी।

जैसे :

सोहन समय से पहले आ गया।

से पहले – कालवाचक संबंध बोधक अव्यय, सोहन संज्ञा की विशेषता बताता है।

द) विस्मयादि बोधक

इसमें इसका भेद और कौन सा भाव व्यक्त हो रहा है उसको बताना है।

शाबाश! कितना अच्छा कार्य किया।

शाबाश – प्रसन्नता सूचक विस्मयादिबोधक बोधक अव्ययहै।

 

पद परिचय के उदाहरण – Pad parichay ke udaharan.

1. घर पर कुछ महिलाएं  नाच रही हैं।

घर – जातिवाचक संज्ञा, एकवचन, पुल्लिंग, अधिकरऋ

कुछ – अनिश्चित संख्या वाचक विशेषण।

महिलाएं – जातिवाचक संज्ञा, बहुवचन, स्त्रीलिंग, कर्ता कारक।

नाच रही हैं – अकर्मक क्रिया, बहुवचन , स्त्रीलिंग, वर्तमान काल।

2. रामायण की रचना वाल्मीकि द्वारा की गई थी।

रामायण  – व्यक्तिवाचक, एकवचन, स्त्रीलिंग, कर्म कारक

वाल्मीकि द्वारा – व्यक्ति वाचक संज्ञा , एकवचन, पुल्लिंग, करण कारक।

की गई थी – संयुक्त क्रिया, एकवचन, कर्मवाच्य, करण कारक की विशेषता बताता है।

3. मोहन ने रोहित को पुस्तक दी।

मोहन  – व्यक्तिवाचक संज्ञा, एकवचन, पुल्लिंग, कर्ता कारक

रोहित – व्यक्तिवाचक संज्ञा, एकवचन, पुल्लिंग, करण कारक,

पुस्तक – जातिवाचक संज्ञा, एकवचन, स्त्रीलिंग, कर्म कारक।

4. वह आम खाता है।

वह – पुरुषवाचक सर्वनाम, अन्य पुरुष, एकवचन, कर्ता कारक।

आम  – जातिवाचक संज्ञा, एकवचन, पुल्लिंग, कर्म कारक।

खाता है- सकर्मक क्रिया, एकवचन, पुल्लिंग, कृत वाचक, वर्तमान काल।

 

5. मोहित विद्यालय जाता है।

मोहित  – जातिवाचक संज्ञा, एकवचन, पुल्लिंग, कर्ता कारक।

विद्यालय  – जातिवाचक संज्ञा, एकवचन, पुल्लिंग, कर्म कारक।

जाता है  – सामान्य क्रिया, सकर्मक क्रिया, एकवचन, कृत वाच्य।

 

6. रीना केला खाती है।

रीना – व्यक्तिवाचक संज्ञा, स्त्रीलिंग, एकवचन, कर्ता कारक।

केला – जातिवाचक संज्ञा, एकवचन, स्त्रीलिंग, कर्म कारक।

खाती है – सकर्मक क्रिया, एकवचन, स्त्रीलिंग, वर्तमान काल।

 

पद परिचय किसे कहते हैं?

पद परिचय class 10 – FAQ

 

1. पद किसे कहते हैं?

उत्तर : “वर्णों के मेल से शब्द की रचना होती है। शब्द को जब सार्थक वाक्य में प्रयुक्त किया जाता है तो वह पद कहलाता है। जब कोई सार्थक शब्दों के मेल से वाक्य की रचना की जाती है तो उस वाक्य में प्रयुक्त शब्दों को पद कहते हैं। अर्थात किसी वाक्य में प्रयुक्त सार्थक शब्द को पद कहते हैं।”

 

2. पद परिचय को परिभाषित कीजिए।

उत्तर : “वाक्य में प्रयुक्त पद के बारे में व्याकरण की दृष्टि से यह जानना कि इसमें कौन सी संज्ञा है, कौन सा सर्वनाम है ,कौन सी क्रिया है, कौन सा विशेषण है, और कौन सा अव्यय है। इन सभी के बारे में समेकित रूप से उल्लेख पद परिचय कहलाता है। अर्थात वाक्य में प्रयुक्त पद के स्वरूप और अन्य पदों से संबंध को जानना ही पद परिचय कहलाता है।

 

3. पद परिचय के कितने भेद होते हैं?

उत्तर : पद परिचय के पांच भेद होते हैं।

संज्ञा, सर्वनाम, क्रिया, विशेषण, और अव्यय।

 

4. संज्ञा पद परिचय किसे कहते हैं ?

उत्तर : वाक्य में प्रयुक्त पद में कौन सी संज्ञा है, संज्ञा का भेद,  संज्ञा शब्द का लिंग, वचन और कारक का उल्लेख करते हुए संज्ञा का अन्य पदों से संबंध बताना है।

 

5. विशेषण का पद परिचय किसे कहते हैं?

उत्तर : विशेषण के पद परिचय में विशेषण का प्रकार, अवस्था, लिंग, वचन, विशेष्य के साथ उसका संबंध आदि के बारे में बताना होता है।

 

6. सर्वनाम शब्द का पद परिचय कैसे किया जाता है? समझाइए।

उत्तर : सर्वनाम शब्द का पद परिचय देते समय सर्वप्रथम पद को पहचानना है, उसके बाद सर्वनाम का कौन सा भेद है, इसके बाद लिंग, वचन, कारक और वाक्य में अन्य संबंध बताने हैं।

 

7. क्रिया शब्द का पद परिचय कैसे किया जाता है।

क्रिया शब्द का पद परिचय देते समय क्रिया का प्रकार, लिंग, वचन, काल, और वाक्य में प्रयुक्त अन्य शब्दों के साथ संबंध बताना होता है।

 

8. अव्यय शब्द का पद परिचय किस प्रकार से दिया जाता है।

अव्यय शब्दों में लिंग, वचन, कारक आदि का कोई प्रभाव नहीं पड़ता है। उनके पद परिचय में अब शब्द का प्रकार और उसका संबंध और विशेषता को बताना होता है।

 

अविकारी शब्द या अव्यय

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